इस्लाम धर्म के मानने वालों के लिए पांच फर्ज(लाजिमी)बताए गए हैं। कलमा, नमाज, रोजा, हज व जकात इनमें शामिल हैं। इनमें से साल में एक माह के रोजों का खास महत्व हैं। रोजा हर उस इंसान पर फर्ज है जिसकी उम्र 15 साल हो गई हो। चाहे औरत हो या फिर मर्द। हालांकि औरतों को नापाकी की हालत में रोजे रखने से छूट दी गइ
via जागरण धर्म समाचार
http://www.jagran.com/spiritual/religion-ramadan-mubarak-10568080.html
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