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Monday, June 23, 2014

मन की दीवार है अयोग्यता

यदि आपके मन में यह विचार जम गया है कि अमुक कार्य के लिए आप अयोग्य हैं, तो इसे निकाल दें। क्योंकि यह विचार जानबूझ कर पैदा किया गया भ्रम है। अयोग्यता मात्र मन की दीवार है, जिसे तोड़कर मजबूती से आगे बढ़ें। ओशो का चिंतन.. मानव समाज में हर व्यक्ति को यह संस्कारित किया




via जागरण संत-साधक

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