वात्सल्य वारिधि जैन आचार्य वर्धमान सागर महाराज ने कहा कि धारण करने को ही धर्म कहते हैं। जो व्यक्ति सत्कर्म और सद् व्यवहार को ग्रहण करके भगवान की उपासना करते हैं, वही धार्मिक कहलाते हैं। शहर में पहली बार पधारे जैन आचार्य की धर्म सभा का आयोजन बुधवार को एमडी जैन इंटर कॉलेज परिसर में किया गया। जैन अनुयायियों को
via जागरण धर्म समाचार
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